जे. के. मिश्र, जिला ब्यूरो चीफ, नवभारत टाइम्स 24×7, बिलासपुर
बिलासपुर। छत्तीसगढ़ की न्यायधानी में अपराधियों के हौसले इस कदर बुलंद हो चुके हैं कि अब पूर्व जनप्रतिनिधि भी सुरक्षित नहीं हैं। बिलासपुर के सकरी क्षेत्र में निवासरत पूर्व विधायक शैलेश पांडे को अज्ञात कॉलर ने जान से मारने की धमकी दी है और 20 लाख रुपये की फिरौती की मांग की है। यही नहीं, कॉल करने वाले ने उनकी रिश्तेदार सहकारिता उप पंजीयक मंजू पांडे की बेटी को अगवा करने की भी धमकी दी है।
यह घटना बुधवार दोपहर करीब 11:45 बजे की है, जब पूर्व विधायक की पत्नी ऋतु पांडे के मोबाइल पर एक अज्ञात नंबर से कॉल आया। कॉल करने वाले ने शैलेश पांडे से बात करने की जिद की और जब उनसे संपर्क हुआ तो उसने सीधे-सीधे गाली-गलौज करते हुए फिरौती की मांग रखी। कॉलर ने कहा कि यदि रकम नहीं दी गई तो वह मंजू पांडे की बेटी का अपहरण कर लेगा।
घटना की गंभीरता को देखते हुए पूर्व विधायक ने तत्काल इसकी सूचना वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक और सकरी थाना प्रभारी प्रदीप आर्य को दी। सकरी पुलिस ने तत्काल कार्रवाई करते हुए IPC की धारा 294 (गाली-गलौज) और 351(2) (आपराधिक धमकी) के तहत प्राथमिकी दर्ज कर ली है। थाना प्रभारी ने बताया कि कॉल डिटेल्स और तकनीकी विश्लेषण के माध्यम से आरोपी की पहचान के प्रयास किए जा रहे हैं।
पूर्व विधायक और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता शैलेश पांडे को मिली इस धमकी ने राजनीतिक गलियारों में हलचल मचा दी है। यह सवाल उठने लगे हैं कि जब एक पूर्व विधायक और वीआईपी सुरक्षित नहीं हैं, तो आम नागरिकों की सुरक्षा का क्या होगा? कानून व्यवस्था को लेकर प्रशासन की गंभीरता अब सवालों के घेरे में है।
