बालोद, 28 मई 2025: मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने आज बालोद में नारायणपुर और कांकेर जिलों के अधिकारियों के साथ बैठक लेकर शासन की योजनाओं के क्रियान्वयन की विस्तृत समीक्षा की। उन्होंने सभी अधिकारियों से कहा कि वे विकसित छत्तीसगढ़ राज्य की परिकल्पना को साकार करने के लिए पूरी निष्ठा और प्रतिबद्धता के साथ कार्य करें।
मुख्यमंत्री ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा वर्ष 2047 तक विकसित भारत बनाने का लक्ष्य तय किया गया है, और उसी अनुरूप छत्तीसगढ़ को विकसित राज्य बनाने के लिए सरकार लगातार कार्य कर रही है। उन्होंने सुशासन तिहार, विकास कार्यों और योजनाओं के प्रभावी क्रियान्वयन पर फोकस करते हुए अधिकारियों से कहा कि वे जनकल्याणकारी योजनाओं का शत-प्रतिशत लाभ आम जनता तक पहुँचाएं।
मुख्यमंत्री ने बताया कि सुशासन तिहार के तीसरे चरण में प्रदेश के विभिन्न हिस्सों का निरीक्षण किया जा रहा है और जनता से फीडबैक लेकर योजनाओं की जमीनी स्थिति की जानकारी ली जा रही है। उन्होंने कहा कि पिछले डेढ़ वर्षों में छत्तीसगढ़ की बेहतरी के लिए किया गया कार्य जनता के सकारात्मक फीडबैक से स्पष्ट होता है।
नीति आयोग की हालिया बैठक का उल्लेख करते हुए मुख्यमंत्री ने बताया कि इसमें छत्तीसगढ़ के विकास रोडमैप पर सार्थक चर्चा हुई और राज्य ने भी विकसित छत्तीसगढ़ के लिए विजन डॉक्युमेंट तैयार किया है।
बैठक में उन्होंने अधिकारियों को सुशासन तिहार के अंतर्गत स्वच्छता और साफ-सफाई के लिए प्राप्त आवेदनों का प्राथमिकता से निराकरण करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि स्वच्छ भारत मिशन से आम जनता में स्वच्छता को लेकर जागरूकता बढ़ी है और प्रशासन को इसमें सक्रिय भूमिका निभानी चाहिए।
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को नियमित रूप से जिलों का दौरा सुनिश्चित करने के निर्देश देते हुए कहा कि इससे प्रशासनिक व्यवस्था सुदृढ़ होती है और समस्याओं का शीघ्र समाधान संभव होता है।
जल संकट पर चिंता व्यक्त करते हुए उन्होंने फसल चक्र अपनाने और गन्ना, दलहन-तिलहन जैसी फसलों को प्रोत्साहन देने की बात कही। राजस्व मामलों को लेकर उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिए कि अनावश्यक विलंब से जनता में असंतोष उत्पन्न होता है, अतः लंबित मामलों का शीघ्र निराकरण किया जाए।
उन्होंने ड्रोन तकनीक के उपयोग की संभावनाओं को रेखांकित करते हुए “ड्रोन दीदी” योजना पर विशेष ध्यान देने को कहा। इसके साथ ही बुनियादी दस्तावेज जैसे आय, जाति, निवास प्रमाणपत्र के शीघ्र निपटारे के लिए विशेष शिविरों के आयोजन का सुझाव दिया।
शिक्षा की गुणवत्ता पर चिंता व्यक्त करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि इसे सर्वोच्च प्राथमिकता दी जाए। उन्होंने बालोद जिले के परीक्षा परिणामों पर असंतोष जताते हुए अधिकारियों को सुधारात्मक कदम उठाने के निर्देश दिए।
उन्होंने केन्द्र सरकार की योजनाओं – आयुष्मान कार्ड, हर घर नल से जल, पीएम आवास, पीएम जनमन आदि – का शत-प्रतिशत क्रियान्वयन सुनिश्चित करने को कहा।
मुख्यमंत्री ने बताया कि बालोद जिले के देवरी और डौण्डीलोहारा में 500 करोड़ की लागत से 400/220/132 केवी के उच्चदाब उपकेन्द्र और 11.47 करोड़ की लागत से जुनवानी से चिखली मार्ग के निर्माण की योजना बनाई गई है।
बैठक में मुख्यमंत्री के प्रमुख सचिव सुबोध सिंह, सचिव डॉ. बसवराजु एस, दुर्ग संभाग आयुक्त सत्य नारायण राठौर, बस्तर संभाग आयुक्त डोमन सिंह, बालोद कलेक्टर दिव्या उमेश मिश्रा, कांकेर कलेक्टर नीलेश क्षीरसागर, नारायणपुर कलेक्टर प्रतिष्ठा ममगई सहित संबंधित जिलों के पुलिस अधीक्षक एवं अन्य वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
