रायपुर। शहर के सबसे व्यस्त नेशनल हाइवे — मुंबई-हावड़ा मार्ग पर शनिवार को बड़ा हंगामा खड़ा हो गया। यहां प्रोफेसर कॉलोनी के लोगों ने कॉलोनी में लंबे समय से हो रहे जलभराव के खिलाफ मोर्चा खोल दिया और परिवार समेत सड़क पर धरने पर बैठ गए। नतीजतन, करीब 2 किलोमीटर लंबा ट्रैफिक जाम लग गया।
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि अब तक इस चक्काजाम की जानकारी जिला प्रशासन को नहीं दी गई थी, जिससे हालात और बिगड़ते चले गए। सड़क के दोनों ओर गाड़ियां फंसी रही और आमजन को खासी परेशानियों का सामना करना पड़ा।
कहां और क्यों हुआ चक्काजाम?
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प्रदर्शनकारी काली माता मंदिर के पास सड़क पर बैठे हुए हैं।
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लोगों का आरोप है कि कॉलोनी में बारिश के बाद जलभराव से रहना मुश्किल हो गया है और कई बार शिकायत के बावजूद कोई सुनवाई नहीं हो रही।
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प्रदर्शन में महिलाएं, बच्चे और बुजुर्ग भी शामिल हैं।
पुलिस की प्रतिक्रिया
हालांकि, कुछ ट्रैफिक पुलिस कर्मी मौके पर पहुंच गए हैं। उन्होंने स्थिति की गंभीरता को देखते हुए अपने अधिकारियों को सूचित कर दिया है। रायपुर पुलिस ने बयान जारी कर बताया कि:
“कुशालपुर-भाठागांव मार्ग के बीच प्रोफेसर कॉलोनी के निवासियों ने जलभराव की समस्या को लेकर हाईवे पर चक्काजाम किया है। ट्रैफिक को डायवर्ट करने की कोशिश की जा रही है।”
क्या है प्रशासन की अगली कार्रवाई?
अब यह देखना होगा कि जिला प्रशासन इस स्थिति से कैसे निपटता है, और क्या कॉलोनीवासियों की वर्षों पुरानी इस समस्या का कोई ठोस समाधान निकलता है या नहीं।
