सही शोध पद्धति के बिना किसी भी शोध का मूल्यांकन करना कठिन कुलपति वाजपेयी

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नव भारत टाइम्स 24 x 7 के ब्यूरो चीफ जे.के. मिश्रा की रिपोर्ट:

अटल बिहारी वाजपेयी विश्वविद्यालय में एक उत्कृष्ट रिसर्च मैथोडोलाजी कार्यशाला का आयोजन किया गया, जिसमें 268 शोधार्थियों ने प्रतिभागी के रूप में भाग लिया। इस कार्यशाला का उद्देश्य छात्रों को शोध कार्यों में उपयोगी तकनीकों और विधियों के बारे में जागरूक करना था। मुख्य अतिथि के रूप में विश्वविद्यालय के कुलपति आचार्य अरुण दिवाकर नाथ वाजपेयी ने कार्यशाला का उद्घाटन किया और छात्रों को संबोधित किया।

कुलपति ने छात्रों को अनुसंधान के महत्व और उसकी विधियों के बारे में विस्तार से बताया। उन्होंने कहा, रिसर्च मैथोडोलाजी किसी भी शोध का आधार होती है। एक मजबूत और व्यवस्थित शोध पद्धति के माध्यम से हम उच्च गुणवत्ता के परिणाम प्राप्त कर सकते हैं। कुलपति वाजपेयी ने छात्रों को प्रोत्साहित करते हुए कहा, आप सभी इस कार्यशाला के माध्यम से जो ज्ञान प्राप्त करेंगे, वह आपके शोध कार्यों में मील का पत्थर साबित होगा।

कार्यशाला में छात्रों को विभिन्न शोध विधियों जैसे कि गुणात्मक और मात्रात्मक अनुसंधान, डेटा संग्रहण और विश्लेषण, साहित्य समीक्षा, शोध प्रपत्र लेखन और प्रकाशन आदि पर विस्तृत जानकारी दी गई। विशेषज्ञों ने प्रायोगिक सत्रों के माध्यम से छात्रों को वास्तविक समय में शोध करने की प्रक्रिया को समझाया और उन्हें शोध के दौरान आने वाली चुनौतियों से निपटने के उपाय भी बताए।

 

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Author: Deepak Mittal

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