बिजली के बकायेदारों के खिलाफ ऊर्जा निगम ने सख्ती बरतनी शुरू कर दी है. बड़े बकायेदारों के जहां सीधे कनेक्शन काटने के निर्देश दिए गए हैं वहीं छोटे बकायेदारों से भी भुगतान की अपील की जा रही है.
बिजली के करीब 30 लाख कंज्यूमर्स पर करीब 1500 करोड़ रुपये से अधिक का बिजली बिल बकाया है. बिल देने में सरकारी विभागों से लेकर आम कंज्यूमर्स शामिल हैं. अकेले सरकारी विभागों पर 700 करोड़ से अधिक का बकाया चल रहा है. जबकि घरेलू श्रेणी के उपभोक्ताओं पर 900 करोड़ के करीब बकाया है. कमर्शियल कंज्यूमर्स को मिलाकर बकाये की रकम 2248 करोड़ के लगभग बताई जा रही है.
दून 144 करोड़ का बकायेदार
दून शहर की बात करें तो यहां भी बिजली बकायेदारों की लंबी लिस्ट है. दून सिटी में 27.48 करोड़ का बिजली बिलों का बकाया चल रहा है. ग्रामीण इलाकों पर 116.95 करोड़ का बकाया है. दोनों को मिला दिया जाए तो यह राशि 144.80 करोड़ होती है.
सरकारी विभागों पर 700 करोड़ पेंडेंसी
आम उपभोक्ता ही नहीं, सरकारी विभाग भी बिजली बिलों का समय पर भुगतान नहीं कर पा रहे हैं. ऊर्जा निगम के अनुसार सरकारी विभागों पर 700 करोड़ से अधिक के बिल बकाया चल रहे हैं. लगातार वसूली की कार्रवाई के बाद भी विभाग बिल जमा नहीं कर रहे हैं. मार्च आने को नजदीक है. हालांकि कई विभाग जमा भी कर रहे हैं.
बकायेदारों को आखिरी अल्टीमेटम
31 मार्च तक बकाये का भुगतान पूरा किया जाना है. समय काफी कम रह गया है. ऐसे में ऊर्जा निगम की ओर से उपभोक्ताओं को अंतिम चेतावनी नोटिस जारी किए गए हैं. ऊर्जा निगम के एमडी अनिल कुमार ने बताया कि बकायेदारों को पूर्व में नोटिस जारी किए गए हैं. अब अंतिम नोटिस जारी किए जा रहे हैं. इसके बाद कोई समय नहीं दिया जाएगा, सीधे क्नेक्शन काटा जाएगा. उन्होंने उपभोक्ताओं से अपील की है कि जल्द से जल्द बकाये का भुगतान करें.
बकायेदारी से बढ़ रहे रेट
ऊर्जा निगम का दो हजार से अधिक उपभोक्ताओं पर पेंडिंग चल रही है. यह बहुत बड़ी रकम है. यदि यह रकम ऊर्जा निगम को मिल जाती है, तो इससे आम उपभोक्ताओं को महंगी की बजाय सस्ती बिजली मुहैया हो सकेगी. 22 सौ करोड़ बकाये की वजह से ऊर्जा निगम हर साल घाटे में जा रहा है, जिससे हर साल बिजली के रेट बढ़ रहे हैं. निगम के अफसरों की मानें तो यदि बकाये की यह रकम निगम को मिल जाती है, तो इससे जहां निगम के घाटा पूरा होगा वहीं सस्ती बिजली भी उपलब्ध हो सकेगी.
कई कंज्यूमर्स को जारी की गई आरसी
बड़े बकायेदारों के खिलाफ आरसी जारी भी की जा रही है. आरसी के बाद भी भुगतान न करने पर उसकी संपित्त की कुर्की की जाएगी. फिलहाल जारी किए गए नोटिस में कनेक्शन काटने को चेताया गया है. इसके बाद किसी भी तरह की रियायत नहीं दी जाएगी.
ये हैं कुछ मुख्य बिंदु
– राज्य के 30 लाख कंज्यूमर्स पर है बिजली का 2200 करोड़ से अधिक बकाया
– घरेलू श्रेणी में 850 करोड़, सरकारी विभागों पर 700 करोड़, 500 करोड़ कमर्शियल कंज्यूमर्स पर
– दून के शहरी क्षेत्रों पर 27.85 करोड़ और ग्रामीण क्षेत्र में 116.95 करोड़ का बकाया
– कमर्शियल श्रेणी के कई कंज्यूमर्स 5 लाख से लेकर 2 करोड़ तक के बकायेदार
– लगतार अपील के बाद भी जमा नहीं कराया जा रहा बकाये बिलों का भुगतान
– अब निगम ने जारी की अंतिम चेतावनी, बड़े बकायेदारों की बिजली काटनी की गई शुरू
सर्किलवार बकाये पर एक नजर
– दून 100.56
– टिहरी 102.86
– श्रीनगर 191.39
– कर्णप्रयाग 54.17
– रुड़की 496.10
– हरिद्वार 457.50
– हल्द्वानी 197.28
– काशीपुर 239.003
– रानीखेत 118.15
– रुद्रपुर 9.22
– चंपावत 81.38
– पिथौरागढ़ 56.019
नोट: धनराशि करोड़ में
बिजली बिलों के बकाया वसूली को लेकर लगातार अभियान चलाया जा रहा है. रोजाना औसतन 25 से 30 करोड़ की डिविजनों की ओर से बिलों की वसूली की जा रही है. सभी उपभोक्ताओं से अपील है कि बकाया बिल का भुगतान समय से करें.

Author: Deepak Mittal
