कलेक्टर पहुंचे वृद्ध आश्रम, बाल गृह और सियान सदन

Picture of Deepak Mittal

Deepak Mittal

उपहार बांटकर मनाई दीपावली, बुजुर्गों और बच्चों के चेहरों पर खिली मुस्कान

निर्मल अग्रवाल ब्यूरो प्रमुख मुंगेली 8959931111

मुंगेली- दीपों के पर्व दीपावली का सच्चा अर्थ है अंधकार से प्रकाश की ओर, उदासी से उमंग की ओर और स्वार्थ से सेवा की ओर बढ़ना। इसी भावना को साकार करते हुए मुंगेली जिले के कलेक्टर कुन्दन कुमार सपरिवार को जिले के वृद्ध आश्रम, बाल गृह और सियान सदन पहुंचकर वहां निवासरत बुजुर्गों और बच्चों के बीच दीपावली का पर्व मनाया।

कलेक्टर दंपती के पहुंचते ही इन संस्थानों में उल्लास का माहौल बन गया। बच्चों ने रंगोली से परिसर को सजाया था, वहीं बुजुर्गों ने आत्मीय मुस्कान से अपने “परिवार” जैसे मेहमानों का स्वागत किया। कलेक्टर ने वृद्धजनों एवं बच्चों से आत्मीय संवाद करते हुए उनका हालचाल जाना और सभी को दीपावली की हार्दिक शुभकामनाएं दीं।

उन्होंने कहा कि “दीपावली का असली आनंद तभी है जब हम समाज के उन सदस्यों के साथ खुशियां साझा करें जो हमारे स्नेह और साथ के आकांक्षी हैं।” इस दौरान कलेक्टर एवं उनकी धर्मपत्नी ने अपने हाथों से वृद्धजनों और बच्चों को मिठाई, फटाके, कंबल, साड़ी, कुर्ता और अन्य आवश्यक वस्तुएं भेंट कीं। उपहार पाकर सभी के चेहरे पर अपार खुशी और अपनापन झलक उठा। कलेक्टर ने वृद्धाश्रम एवं सियान सदन के निवासियों से उनके स्वास्थ्य, भोजन, स्वच्छता, सुरक्षा और सुविधा की जानकारी ली और संबंधित अधिकारियों को निर्देशित किया कि आश्रमों में रह रहे सभी बुजुर्गों और बच्चों की देखभाल में किसी प्रकार की कमी नहीं होनी चाहिए।

उन्होंने कहा कि प्रशासन का दायित्व केवल योजनाएं लागू करना नहीं, बल्कि हर व्यक्ति के जीवन में खुशियां पहुंचाना भी है। कलेक्टर कुन्दन कुमार ने कहा कि “हमारे बुजुर्ग समाज की अमूल्य धरोहर हैं। उनके अनुभव, आशीर्वाद और स्नेह से ही समाज की दिशा तय होती है। इनकी सेवा करना हम सबका नैतिक कर्तव्य है।

वृद्ध आश्रम के प्रभारी ने बताया कि कलेक्टर के आगमन से वहां रहने वाले सभी निवासियों में अपार हर्ष का वातावरण बना रहा। उन्होंने कहा कि प्रशासन द्वारा दिखाई गई यह आत्मीयता और संवेदनशीलता बुजुर्गों को अपनेपन का अहसास कराती है।

दीपावली के इस अवसर पर जिला प्रशासन के अधिकारी, समाजसेवी संस्था के सदस्य एवं स्थानीय नागरिक भी उपस्थित रहे। सभी ने मिलकर मिठाइयां बांटी और मिलजुलकर दीपावली का उल्लासपूर्ण पर्व मनाया।

वृद्धाश्रम और बालगृह में बिताया गया यह समय न केवल वहां के निवासियों के लिए अविस्मरणीय रहा, बल्कि प्रशासन की ओर से यह संदेश भी दिया गया कि समाज की खुशियां तभी पूर्ण होती हैं जब उसमें हर आयु वर्ग, हर व्यक्ति की मुस्कान शामिल हो।

Deepak Mittal
Author: Deepak Mittal

Leave a Comment

Leave a Comment