नव भारत टाइम्स 24 x 7 के ब्यूरो चीफ जे.के. मिश्रा की रिपोर्ट:
छत्तीसगढ़ में शिक्षा के अधिकार अधिनियम (RTE) के तहत दाखिले की प्रक्रिया चल रही है। 20 मई को लॉटरी प्रक्रिया के बाद 32,680 बच्चों के आवेदन निरस्त कर दिए गए। इसके चलते इन बच्चों को शैक्षणिक सत्र 2024-25 (CG RTE Admission 2024-25) के लिए प्राइवेट स्कूलों में प्रवेश नहीं मिल सकेगा।
आयु सीमा बनी मुख्य कारण
प्रवेश निरस्त होने का मुख्य कारण बच्चों की आयु सीमा है। आरटीई के तहत इस बार नई शिक्षा नीति के तहत प्रवेश नियम बनाए गए हैं, जो सभी कक्षाओं पर लागू होते हैं। इन्हीं नियमों के चलते 32,680 बच्चों को प्रवेश प्रक्रिया से बाहर कर दिया गया है।
प्रवेश के लिए 6 साल की आयु अनिवार्य
पहली कक्षा में प्रवेश के लिए बच्चों की आयु 6 साल होना अनिवार्य है। हालांकि, कई अभिभावकों ने 5 साल से साढ़े पांच साल की आयु के बच्चों के लिए फॉर्म जमा किए थे, जिसके कारण ये आवेदन निरस्त कर दिए गए।
52782 सीटों पर होगा प्रवेश
छत्तीसगढ़ में 6,554 प्राइवेट स्कूलों में आरटीई के तहत 25 प्रतिशत सीटों पर प्रवेश दिया जाना है। इसके तहत 52,782 सीटों के लिए 1,22,270 आवेदन प्राप्त हुए थे। इनमें से केवल 28,098 बच्चों का नाम लॉटरी में आया। 12,426 आवेदन अधूरे पाए गए और 2,590 बच्चों ने एक से अधिक स्कूलों में आवेदन किया था। इसके अतिरिक्त, 32,680 आवेदन आयु और दस्तावेजों की कमी के कारण निरस्त कर दिए गए।
दस्तावेजों की कमी
लोक शिक्षण संचालनालय (CG RTE Admission 2024-25) से मिली जानकारी के अनुसार, दस्तावेजों की कमी के चलते कई आवेदन रद्द कर दिए गए। अधिकतर फॉर्म आधार कार्ड, गरीबी रेखा की सूची समेत अन्य आवश्यक कागजों की कमी के कारण निरस्त हुए हैं।
प्राइवेट स्कूल संगठनों का कहना है कि आरटीई के तहत अधिकांश लोगों ने दस्तावेजों की पूर्ति नहीं की, जिससे उनके फॉर्म रद्द हो गए। कई आवेदनों में उम्र की जानकारी भी अधूरी थी, जिससे वे भी रद्द हुए।

Author: Deepak Mittal
