एस ई सी एल हसदेव क्षेत्र के खोंगा पानी स्थित भंडारण क्षेत्र में बताए गए क्षमता से काफी कम कोयला भंडार होने की खबर.

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शोएब अख्तर ब्यूरो चीफ, नवभारत टाइम्स 24 x7in ब्यूरो प्रमुख चिरमिरी महेंद्रगढ़ की कलम से धरातल की सहप्रमाण प्रमाणित रिपोर्टिंग पढ़ें 

एस ई सी एल हसदेव क्षेत्र के खोंगा पानी स्थित भंडारण क्षेत्र में बताए गए क्षमता से काफी कम कोयला भंडार होने की खबर.

 

*उप क्षेत्रीय प्रबंधक एवं तौल घर में कार्यरत अधिकारी कर्मचारियों की स्थिति संदिग्ध,इस प्रकरण में कोई भी अधिकारी बोलने से क्यों हो रहा भयभीत.!!!*

*करोड़ों रुपए के हुए इस कथित भ्रष्टाचार की सीबीआई सहित अन्य जांच एजेंसी से उठ रही है जांच करने की मांग.!!!*

             

शेख अख्तर ब्यूरो चीफ नवभारत टाइम्स 24 x7in चिरमिरी महेंद्रगढ़

चिरमिरी महेंद्रगढ़,,,एम.सी.बी जिले के एसईसीएल हसदेव क्षेत्र में संचालित खोंगा पानी स्थित कोल भंडारण वाले स्थान पर जिम्मेदार अधिकारियों द्वारा बताए जा रहे स्टॉक से काफी कम मात्रा में कोयले रखे जाने की खबर क्षेत्र में बड़े सुर्खियों पर बनी हुई है, इस पूरे प्रकरण में क्षेत्र में कार्यरत उप क्षेत्रीय प्रबंधक की स्थिति संदिग्ध बताई जाती है बताया यह भी जाता है कि प्रबंधन ने जो स्टॉक अपने ऊपर के अधिकारियों को बताया गया है उससे काफी कम मात्रा में कोयले का स्टॉक मौके पर उपलब्ध है स्थानीय श्रमिकों और जनप्रतिनिधियों के मुताबिक पिछले 1 साल में काफी कोयला मध्य प्रदेश के एक प्राइवेट कंपनी के गोदाम में बड़े पैमाने में भेजा गया है प्रतिदिन 5 ट्रेलर कोयला इस भंडारण केंद्र से निकलकर वहां भेजने का काम प्रबंधन और ट्रांसपोर्टर की मिली भगत से किया गया है जिसका भौतिक सत्यापन नितांत आवश्यक है जिले के खनिज विभाग, पर्यावरण विभाग, एसइसीएल के विजिलेंस, सहित सी.बी.आई. की संयुक्त टीम से तत्काल जांच कराए जाने की प्रबल मांग उठ रही है ताकि करोड रुपए के उक्त कथित भ्रष्टाचार का मामला क्रमश: उजागर किया जा सके और दोषियों पर कार्यवाही हो सके.!!!


उल्लेखनीय रहे की क्षेत्र की काफी पुराने समय से संचालित कोयला खदानों में शुमार झगड़ाखांड उप क्षेत्र के अंतर्गत के अंतर्गत संचालित खदानों का कोयला को खोँगा पानी स्थित स्टॉक यार्ड में रखा जाता है उसके बाद आवश्यकता के अनुरूप जहां का डी. ओ. होता है वहां भेजा जाता है. मिली जानकारी के अनुसार कंपनी के स्टॉक बुक में 2637 टन कोयला उक्त क्षेत्र में भंडार किया गया है, लेकिन पिछले 1 साल से एक ट्रांसपोर्टर की मिली भगत से उक्त भंडार कोयले को मध्य प्रदेश के एक प्राइवेट यार्ड में लगातार प्रबंधन की मिली भगत से माल बेचा गया है इस कारण भंडारण क्षेत्र में कोयला का स्टॉक बहुत कम बताया जाता है क्षेत्र में चल रहे इस तरह के अनैतिक कार्य की शिकायत बीच-बीच में कंपनी के आला अधिकारियों से की जाती रही है, लेकिन उन सब के द्वारा किसी भी प्रकार के रोक टोक नहीं किए जाने के वजह से लगातार कोयला स्टॉक यार्ड से खाली होता चला गया,, आज यदि उक्त स्टॉक यार्ड का भौतिक सत्यापन सरकार की विभिन्न जांच एजेंसी करें तो दूध का दूध पानी का पानी हो जाएगा.!!!

विदित हो कि उत्तरोत्तर उन्नति और विकास की आपा धापी में अक्सर जल्दी प्रमोशन पाने की लालसा रखने वाले अधिकारी लालची और भ्रष्ट बन जाते है,कोयला उत्पादन मैं अपना कृतिमान स्थापित करने वाले देश की मिनी रत्न कंपनी मैं इन दोनों जहां कोयला उत्पादन कम हुआ है, वही कंपनी में पदस्थ अधिकारी अपना प्रमोशन की लालच में कई बार नियमों को दर्द किनार करते हुए उत्पादन को बढ़ाने के लिए फर्जी स्टॉक बताने के लिए कोयले में मिट्टी और सेल मिलाकर अपना उत्पादन का फर्जी आंकड़ा देने का प्रयास करते हैं तो कई बार अधिक उत्पादन हो जाने पर स्थानीय ट्रांसपोटरो और माफियाओं से मिलकर अपना कॉल स्टाक भी खाली करवा देते हैं,हालांकि इस तरह के काम में इनका अकेले हाथ नहीं होता है इनके उच्च अधिकारी एवं कंपनी स्तर के अधिकारियों की भी सहमति और मिली भगत के बाद भी हजारों टन कोयला का वारा न्यारा किया जाता रहा है

बहरहाल स्थिति जो भी हो कोयला का स्टॉक कम होना क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है एसईसीएल के अधिकारी भयभीत हैं, उन्हें किसी भी तरह अधिक उत्पादन कर उसे स्टॉक को पूरा करने का दबाव बन रहा है, देखना है यह है कि इस स्टॉक का भौतिक सत्यापन कर सरकार की विभिन्न जांच एजेंसियां कार्रवाई करती हैं या पूर्व की भांति इस पूरे प्रकरण पर भी चांदी के जूते का वार निरंतर वार कर दबा दिया जाएगा.!!!

शोएब अख्तर ब्यूरो चीफ, नवभारत टाइम्स 24 x7in ब्यूरो प्रमुख चिरमिरी महेंद्रगढ़ की कलम से धरातल की सहप्रमाण प्रमाणित रिपोर्टिंग पढ़ें
शेख अख्तर ब्यूरो चीफ नवभारत टाइम्स 24 x7in चिरमिरी महेंद्रगढ़
 

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